नववर्ष में महक उठे...... - Kavita Rawat Blog, Kahani, Kavita, Lekh, Yatra vritant, Sansmaran, Bacchon ka Kona
ब्लॉग के माध्यम से मेरा प्रयास है कि मैं अपनी कविता, कहानी, गीत, गजल, लेख, यात्रा संस्मरण और संस्मरण द्वारा अपने विचारों व भावनाओं को अपने पारिवारिक और सामाजिक दायित्व निर्वहन के साथ-साथ सरलतम अभिव्यक्ति के माध्यम से लिपिबद्ध करते हुए अधिकाधिक जनमानस के निकट पहुँच सकूँ। इसके लिए आपके सुझाव, आलोचना, समालोचना आदि का हार्दिक स्वागत है।

रविवार, 1 जनवरी 2017

नववर्ष में महक उठे......

तन-मन में रहे सदा, माटी की सौंधी गंध
कर्मों में गूंजे सदा, भारतीयता के छंद
जन-जन से हो उल्लास, प्रेम के अनुबंध
नववर्ष में महक उठे, घर-घर ये मकरंद
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कविता रावत की ओर से आप सभी को नववर्ष की हार्दिक शुभकामनाएं!